उत्तराखण्ड

कावंड यात्रा 14 से 26 जुलाई से होगी शुरूः अशोक कुमार

देहरादून। उत्तराखण्ड के पुलिस महानिदेशक अशोक कुमार ने कहा कि इस साल कावंड यात्रा 14 से 26 जुलाई को होने जा रही है। कोरोना के काल के बाद यह पहली कांवड़ यात्रा हैं। उन्होंने कहा कि दो साल के अंतराल पर होने जा रही कांवड़ यात्रा में चार करोड़ कावंडिएं आ सकते है। इसके लिए दस हजार से ज्यादा अधिकारियों और पुलिस कर्मियों की डयूटी लगाई जाएगी। आगामी 14 जुलाई से हरिद्वार में कांवड़ यात्रा शुरू होने जा रही है। कांवड़ा यात्रा में बड़ी संख्या में श्रद्धालु उत्तराखंड के अलग-अलग जिलों के अलावा यूपी, हरियाणा, पंजाब, दिल्ली और राजस्थान से भी आते हैं। कांवड़ यात्रा से होने वाली भीड़ को देखते हुए पुलिस-प्रशासन ने तैयारियों शुरू कर दी हैं। इसीलिए आज उत्तराखंड पुलिस ने छह राज्यों के पुलिस अधिकारियों के साथ अन्तर्राज्यीय समन्वय बैठक की। बैठक में उत्तर प्रदेश, राजस्थान, हरियाणा, पंजाब और दिल्ली के पुलिस अधिकारी मौजूद रहे। बैठक में मुख्य रूप से कांवड़ यात्रा को बेहतर ढंग से संचालित किए जाने को लेकर चर्चा की गई। कोरोना महामारी के चलते पिछले दो सालों से कांवड़ यात्रा पर प्रतिबंध लगाया गया था। इसीलिए इस बार उम्मीद की जा रही है कि बड़ी संख्या में कांवड़िया हरिद्वार आएंगे। चारधाम यात्रा के साथ कांवड़ यात्रा का संचालन पुलिस और प्रशासन के लिए बड़ी चुनौती होगा। उत्तराखंड के डीजीपी अशोक कुमार ने बताया कि हर साल सावन के महीने में लाखों की संख्या में कांवड़िए उत्तराखंड के हरिद्वार पहुंचते हैं। हालांकि पिछले दो साल से कांवड़ यात्रा बंद थी। लिहाजा इस साल करीब 4 करोड़ कांवड़ियों के आने की संभावना है। इसी के मद्देनजर बैठक की गई है। कांवड़ यात्रा की व्यवस्थाओं को मुकम्मल करने पर चर्चा की गयी है। बैठक में दिल्ली, यूपी, हरियाणा, हिमाचल और पंजाब के पुलिस अधिकारी मौजूद रहे। इस मीटिंग में कांवड़ यात्रा को सकुशल निपटाने पर चर्चा हुई। साथ ही सभी राज्यों के अधिकारियों ने फरार अपराधियों की लिस्ट भी एक-दूसरे से साझा की। ये बैठक इसीलिए भी अहम थी, ताकि कांवड़ यात्रा की आड़ में कोई भी आपराधिक तत्व प्रदेश की सीमाओं से फरार न हो सके। वहीं, इस बैठक में कांवड़ यात्रा से बाधित होने वाले रूट और ट्रैफिक डायवर्जन पर भी सभी राज्यों के अधिकारीयों की बातचीत हुई। साथ ही कांवड़ यात्रा मार्गों पर सीसीटीवी कैमरे से भी निगरानी की जायेगी, जिसके लिए मीटिंग में कांवड़ रूट पर कहां-कहां सीसीटीवी कैमरे लगेंगे उन पर भी चर्चा की गई। डीजीपी अशोक कुमार ने कहा कि पुलिस कांवड़ियों से अपील करती है कि जो भी कांवड़ यात्रा पर आ रहे हैं, वो शांतिपूर्ण तरीके से आएं और बिना हुड़दंग मचाए हरिद्वार से जल भरकर अपने गंतव्य को रवाना हों। साथ ही कहा कि इस कांवड़ यात्रा में करीब 10 हजार पुलिसकर्मियों और होमगार्ड की तैनाती की जाएगी। ताकि कांवड़ यात्रा को सफलतापूर्वक और शांतिपूर्ण ढंग से सम्पन्न कराया जा सके। बैठक में अपर पुलिस महानिदेशक, अपराध एवं कानून व्यवस्था- वी मुरूगेशन, पुलिस महानिरीक्षक अभिसूचना एवं सुरक्षा- ए पी अंशुमान, आईजी, फायर- अजय रौतेला, डीआईजी, फायर- नीरू गर्ग, पुलिस उप महानिरीक्षक, सुरक्षा-कृष्ण कुमार वीके, पुलिस उप महानिरीक्षक/निदेशक यातायात- मुख्तार मोहसिन, डीआईजी, कुमाऊँ परिक्षेत्र- नीलेश आनन्द भरणे, डीआईजी, गढ़वाल परिक्षेत्र- करन सिंह नगन्याल, डीआईजी/एसएसपी देरहादून- जन्मेजय प्रभाकर कैलाश, डीआईजी, पी/एम- सेंथिल अबुदेई कृष्ण राज एस,, पुलिस उप महानिरीक्षक, अपराध एवं कानून व्यवस्था- पी रेणुका, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, पुलिस अधीक्षक बिजनौर, पानीपत, करनाल, सोनीपत सहित अन्य पुलिस अधिकारी उपस्थित रहे आदि अधिकारी उपस्थित रहे।

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