उत्तराखण्ड

पं. गोविन्द बल्लभ पंत महान स्वतंत्राता संग्राम सेनानी, समाजसेवी एवं कुशल प्रशासक थेः सीएम धमी

2025 में हम उत्तराऽण्ड राज्य की स्थापना की रजत जयंती के रूप में मनायेंगे
देहरादून । मुख्यमंत्राी पुष्कर सिंह धमी ने सर्वे चौक स्थित आईआरडीटी सभागार में भारत रत्न पं. गोविन्द बल्लभ पंत के 135 वें जन्मदिन समारोह कार्यक्रम में प्रतिभाग किया। इस अवसर पर उन्होंने पं. गोविन्द बल्लभ पंत के चित्रा पर श्र(ासुमन अर्पित कर उन्हें श्र(ांजलि दी।
मुख्यमंत्राी धमी ने कहा कि पं. गोविन्द बल्लभ पंत महान स्वतंत्राता संग्राम सेनानी, समाजसेवी एवं कुशल प्रशासक थे। उन्होंने देश को नई दिशा देने के साथ ही कुली बेगार प्रथा तथा जमींदारी उन्मूलन के लिए निर्णायक संघर्ष कर समाज में व्याप्त बुराइयों को मिटाने में अहम भूमिका निभाई। देश की आजादी से पूर्व एवं देश की आजादी के बाद भी उन्होंने देश सेवा के लिए जो कार्य किये, वे सभी कार्य हमें हमेशा आगे बढ़ने के लिए प्रेरणा देते रहेंगे। उन्होंने अपना पूरा जीवन समाज सेवा के लिए समर्पित किया। हिन्दी को राजभाषा का दर्जा दिलाने में उन्होंने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। मुख्यमंत्राी ने कहा कि पं. गोविन्द बल्लभ पंत का पहाड़ के प्रति विशेष लगाव था। जीवन में तमाम समस्याओं के बावजूद भी वे अपने कर्तव्य पथ से कभी पीछे नहीं हटे। उत्तर प्रदेश के प्रथम मुख्यमंत्राी एवं भारत के गृह मंत्राी के महत्वपूर्ण दायित्व उनके पास रहे। उन्होंने कहा कि देवभूमि उत्तराऽण्ड के ऐसे महान सपूत से प्रेरणा लेकर हमें आगे बढ़ना होगा। मुख्यमंत्राी ने कहा कि उत्तराऽण्ड युवा राज्य है। 2025 में हम उत्तराऽण्ड राज्य की स्थापना की रजत जयंती मनायेंगे। तब तक उत्तराऽण्ड हर क्षेत्रा में देश के अग्रणी राज्यों की श्रेणी में हो, इसके लिए सबको मिलकर प्रयास करने होंगे। हमें विकल्प रहित संकल्प के साथ आगे बढ़ना होगा।
इस अवसर पर विधयक ऽजान दास, मैती आन्दोलन के प्रणेता पप्रश्री कल्याण सिंह रावत, दीप्ति रावत भारद्वाज, राकेश डोभाल एवं अन्य गणमान्य उपस्थित थे।

पं. गोविंद बल्लभ पंत ने देश की आजादी के लिए पूरा जीवन दियाः पूर्व सीएम डॉ. निशंक
देहरादून। पूर्व मुख्यमंत्राी एवं हरिद्वार सांसद डॉ. रमेश पोऽरियाल निशंक ने कहा कि पं. गोविंद बल्लभ पंत ने देश की आजादी के लिए पूरा जीवन ऽपाया। उन्होंने पहाड़ के विकास एवं संस्कृति के संरक्षण का कार्य किया। उन्होंने कहा कि उत्तराऽण्ड देवभूमि के साथ वीरभूमि भी है। पं.गोविंद बल्लभ पंत जैसे क्रांतिकारी इसी देवभूमि में पैदा हुए। डॉ. निशंक ने कहा कि भारत रत्न पं.गोविंद बल्लभ पंत ने जो रास्ता दिऽाया, उससे प्रेरणा लेकर हमें आगे बढ़ना होगा। वे देवभूमि उत्तराऽण्ड के गौरव एवं सम्मान हैं। उन्होंने कहा आज देश ज्ञान-विज्ञान अनुसंधन के क्षेत्रा में तेजी से आगे बढ़ रहा है।

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