उत्तराखण्ड

प्रदेश में धार्मिक व प्राकृतिक पर्यटन की अपार संभावनाएंःराज्यपाल

  • कृषि व बागवानी में नए प्रयोग से राज्यपाल ने जताई प्रसन्नता
  • बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओं कार्यों की सराहना की
    देहरादून। कोविड महामारी के बावजूद जनपद बागेश्वर में जो अभिनव प्रयास किए गए हैं जैसे कीवी, ट्राउट, स्टौबेरी उत्पाद, उद्यान, पालीहाउस, शिक्षा, ई-आफिस में जो सराहनीय कार्य किए उन पर राज्यपाल ले जनरल गुरमीत सिंह (सेवानिवृत्त) ने प्रसन्नता व्यक्त की। उन्होंने कहा कि बागेश्वर में कृषि, उद्यान, नैचुरल व आर्गेनिक कृषि के साथ ही धार्मिक एवं प्राकृतिक पर्यटन में अपार सम्भावनायें है, इन्हें बढ़ावा देना चाहिए ताकि पलायन को भी रोका जा सके। राज्यपाल ने कहा कि उत्तराखण्ड देव भूमि है, जो यहॉ सिद्दत, निष्ठा, सेवाभाव से कार्य करता है प्रभु उसे अवश्य आर्शीवाद देते है। उन्होंने जिलाधिकारी विनीत कुमार को रिवर्स पलायन, नैचुरल एवं आर्गेनिक कृषि, महिला स्वयं सहायता समूहों को और सुदृढ़ करने, सैडो ऐरिया में मोबाइल कनेक्टविटि, डिजिटाइजेशन व विभिन्न क्षेत्रों में 21 इनोवेटिव कार्य करने वालों को चिन्हित करने के निर्देश विकास भवन में अधिकारियों की बैठक लेते हुए दिये। उन्होंने पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए टूरिस्ट डेस्टीनेशन चिन्हित करते हुए होम-स्टे को बढ़ावा देने के निर्देश दिये। उन्होंने जनपद में विभिन्न विद्यालयों में स्मार्टक्लास व जिला चिकित्सालय में डायलिसिस यूनिट स्थापना के लिए भी बधाई दी।उन्होंने बेटी बचाओं-बेटी पढ़ाओं के तहत हो रहे जनपद में कार्यों की सराहना की तथा जनपद में बालक-बालिकाओं के प्रतिशत पर संतोष व्यक्त करते हुए जिला प्रशासन को बधाई दी। राज्यपाल ने इस सुदूरवर्ती जनपद में हंस फाउण्डेशन की मदद से डायलिसिस यूनिट स्थापित करने पर जिला प्रशासन व हंस फाउण्डेशन दोनों को बधाई दी व कहा कि अब स्थानीय मरीजों को डायलिसिस के लिए दूर नहीं जाना पडेगा, उनको यह सुविधा यहीं पर मिलेगी। जिलाधिकारी, पुलिस अधीक्षक, मुख्य विकास अधिकारी, प्रभागीय वनाधिकारी, मुख्य चिकित्साधिकारी ने जनपद के भौगोलिक, विकास योजनाओं एवं अन्य क्रियाकलापों के साथ ही जिला योजना, राज्य सैक्टर व केन्द्र सैक्टर योजनाओं विस्तृत जानकारी दी। मुख्य चिकित्साधिकारी ने बताया कि जिला चिकित्सालय जो पूर्व में सीएचसी था को जनपद गठन के समय जिला चिकित्सालय बनाया गया था जिसमें जगह के साथ ही विशेषज्ञ चिकित्सक की कमी है जिस पर महामहिम ने कहा कि प्रदेश सरकार को जनपद स्तर पर विशेषज्ञ चिकित्सकों की तैनाती पर ध्यान देना चाहिए वे वार्ता भी करेंगे।
    राज्यपाल ने कहा कि अगला दशक उत्तराखण्ड का है, राज्य विकास की ऊंचाई को छूयेगा। महिला सशक्तीकरण एवं महिला स्वयं सहायता समूह द्वारा विकास की क्रान्ति लायी जा सकती है। महिला समूहों द्वारा उत्पादित उत्पादों को ग्लोबल पलेटफार्म देने हेतु उन्हें बड़ी कम्पनियों के साथ टायप करें तथा डिजिटल प्रचार-प्रसार कर एवं सुपर मार्केट उपलब्ध कराने के साथ ही उनकी ब्राण्डिंग, पैकेजिंग की व्यवस्था करनी होगी, ताकि उनके उत्पादों के उच्च दाम मिल सके। उन्होंने स्वयं सहायता समूह द्वारा उत्पादित उत्पादों की सराहना करते हुये हौसला अफजाही की व स्थानीय उत्पादों से जूस, जैम, जैली, अचार आदि उत्पाद बनाने वाले शंकर बिष्ट की सराहना करते हुये उन्हें बधाई दी व उनकी पुत्री के लिए अपने विवेकाधीन कोष से इनाम दिया। उन्होंने कहा कि जनपद के 33 ग्रामों में जो पलायन हुआ है पलायन की जड़ तक जाकर रिवर्स पलायन के लिए प्रयास किये जाय।
    राज्यपाल पूर्व सैनिकों व शहीदों की विधवाओं से मिले व उनसे संवाद करते हुये उनकी पारिवारिक एवं आर्थिकी की जानकारियॉ ली। उन्होंने कहा किसी भी पूर्व सैनिक एवं वीरांगना को कोई भी परेशानी होती है तो वे पत्र लिखकर अथवा समय लेकर राजभवन मिलने आ सकते है। सैनिक कल्याण अधिकारी ने बताया कि जनपद में 11551 पूर्व सैनिक एवं 3635 वीर नारियॉ है। पूर्व सैनिकों ने कहा कि उन्हें कैन्टीन लेने के लिए देहरादून डीपो जाना पड़ता है, उन्होंने कैन्टीन सब डीपो हल्द्वानी में खोलने के साथ ही 2021 में जो ओपन सेना भर्ती हुई थी उसकी लिखित परीक्षा कराने व बागेश्वर में जन मिलन केन्द्र बनाने का अनुरोध किया। जिस पर महामहिम ने सैनिक कल्याण अधिकारी को सभी समस्याओं व मॉग को लिखित रूप में भेजने के निर्देश दिये। महामहिम ने कहा कि फौजी चुनौतियों का सामना करने से नहीं डरते उन्होंने पूर्व सैनिकों को स्वरोजगार के लिए होम-स्टे, औद्यानिक, औषधि खेती करने तथा युवाओं को सेना में भर्ती के लिए कौचिंग सेंटर खोलने का सुझाव भी दिया।
    सेवा में जो शक्ति व शान्ति है वह किसी में नहीं है यह बात राज्यपाल एवं प्रदेश अध्यक्ष रैडक्रास सोर्साइटी ले ज गुरमीत सिंह (सेवानिवृत्त) ने कही। उन्होंने जनपद में रैडक्रास की ओर से किये जा रहे कार्यों की सराहना करते हुए रैडक्रास सोसायटी सदस्यों की संख्या बढ़ाने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि कोविड महामारी के दौरान जो सोसायटी द्वारा कार्य किये गये है वो सराहनीय है। उन्होंने जनपद के 33 पलायन कर रहे गॉवों में रिवर्स पलायन के लिए कार्ययोजना बनाने के निर्देश जिलाधिकारी व रैडक्रास सदस्यों को दिया। रैडक्रास सोसायटी ने जनपद में रैडक्रास भवन निर्माण के लिए 01 करोड़ की धनराशि देने का अनुरोध राज्यपाल से किया। इसके उपरांत राज्यपाल प्रेस से भी मुखातिब हुये। इस अवसर पर पुलिस अधीक्षक अमित श्रीवास्तव, मुख्य विकास अधिकारी संजय सिंह, प्रभागीय वनाधिकारी हिमांशु बागरी, अपर जिलाधिकारी चन्द्र सिंह इमलाल, मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. सुनीता टम्टा, उप जिलाधिकारी हरगिरी, परितोष वर्मा, महाप्रबन्धक उद्योग जीपी दुर्गापाल, जिला विकास अधिकारी संगीता आर्या, सैनिक कल्याण अधिकारी रणजीत सेठ, रैड क्रास सोसायटी के अध्यक्ष संजय शाह जगाती सहित स्वयं सहायता समूह, पूर्व सैनिक, रैड क्रास के सदस्य आदि मौजूद थे।

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