उत्तराखण्ड
गृह मंत्रियों के चिंतन शिविर के दूसरे दिन उत्तराखण्ड के डीजीपी अशोक कुमार ने साइबर सब्जेक्ट्स पर दिया प्रजेन्टेशन, वर्तमान में प्रचलित प्रदेश के ई-सुरक्षा के मॉडल को विस्तार से बताया
- गृह मंत्रालय ने चार राज्यों को साइबर इश्यू प्रस्तुतिकरण देने के लिए चुना
- साइबर अपराधों से सम्बन्धित कई मुद्दों को चिन्तर शिविर में रखा
- मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी चिन्तन शिविर में रहे मौजूद
देहरादून। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने गृह मंत्रालय के चिंतन शिविर में दूसरे दिन भी शुक्रवार को प्रतिभाग किया। गृह मंत्रलय भारत सरकार द्वारा आयोजित चिन्तन शिविर के दूसरे और अन्तिम दिन गृह मंत्रालय की ओर से चार राज्यों को साइबर इश्यू प्रस्तुतिकरण देने के लिए चुना गया। जिसमें उत्तराखण्ड राज्य भी शामिल था। इस क्रम में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के नेतृत्व, मार्गदर्शन एंव दिशा निर्देशन में उत्तराखण्ड के पुलिस महानिदेशक अशोक कुमार ने राज्य पुलिस का प्रतिनिधित्व करते हुए साईबर विषयों का प्रस्तुतिकरण सभी राज्यों के सामने किया।
उन्होंने वर्तमान में प्रचलित उत्तराखण्ड के ई-सुरक्षा के मॉडल को विस्तार से बताया गया। इसके बाद उनके द्वारा वर्ष 2021 के पॉवर बैंक घोटाले एवं वर्ष 2022 में फर्जी चाईनीज वेबसाईट के माध्यम से घोटालों में उत्तराखण्ड द्वारा पूरे देशभर में अभियोगों का अनावरण का संक्षिप्त विवरण प्रस्तुत किया गया। उत्तराखण्ड राज्य द्वारा कुछ अच्छी पहलों पर भी प्रकाश डाला गया। जैसे कि राज्य में साईबर थाने में शून्य अभियोग पंजीकृत करना जिससे कि पीड़ित को तत्काल अभियोग पंजीकरण कर उस पर कार्यवाही करते हुए पीड़ित को न्याय दिलाया जा सके,थानों की दीवारों पर साइबर जागरुकता सन्देश, साइबर बुलेटिन जागरूकता के लिए आदि।टीम द्वारा साइबर समस्याओं के सम्बन्ध में कुछ महत्तवपूर्ण सुझाव दिये गये। जैसे कि साइबर अपराध की विवेचना की शक्ति उप निरीक्षक स्तर अधिकारियों को देना जिससे कि विवेचनाओं का समयबद्ध विधिक निस्तारण किया जा सके,आईटी एक्ट कानून को मजबूत करने के लिए सजा का प्रावधान और कठोर किया जाना सम्बन्धी जिससे अभियुक्त़गण को शीघ्र जमानत न मिल सके व अपराध की पुर्नावृत्ति न कर सके तथा बढ़ते हुए साईबर अपराधों की चुनौतियों के क्रम में नये साईबर कानून की आवश्यकता लाना। भारत सरकार की पहल 1930 को 112 से जोड़ा गया व उत्तफ़ हेल्पलाईन नम्बर को प्रभावी करने के लिए बैंको एवं इस प्रकार के वित्तीय कम्पनियों को प्रभावी रुप से प्रेरित करने के लिए निर्देश जारी करना। कानून व्यवस्था को बाधित करने के लिए ब्लक सन्देशों पर लगाम लगाने के लिए भी कुछ सुझाव प्रस्तुत किये गये। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के वोकल फॉर लोकल मूल मंत्र के उदेश्य से प्रेरणा लेकर उत्तराखंड राज्य की ओर से द्वितीय हैकॉथान चरण से क्रिप्टो करेंसी डार्क नेट और रोड दुर्घटना रोकने के लिए स्वदेशी समाधान मिलेंगे जिससे देश के अन्य राज्यों की भी मदद होंगी।