यूपीईएस स्कूल ऑफ कंप्यूटर साइंस ने किया हार्ड वॉर 2.0 का आयोजन,दुनियाभर के शैक्षिक संस्थानों की 110 से ज्यादा टीमों ने किया पार्टिसिपेट, टीम रिम ग्रीनर्जी जीडी गोयनका यूनिवर्सिटी बनी विनर
देहरादून। यूपीईएस स्कूल ऑफ कंप्यूटर साइंस ने साइबर सेंटिनल सोसायटी के साथ मिलकर और ‘रनवे’ के सहयोग से हाल में एक प्रतिष्ठित इंटरनेशनल हार्डवेयर हैकथॉन हॉर्ड वॉर 2.0 का सफल आयोजन किया। ‘रीथिंकिंग सस्टेनेबिलटी‘ के थीम पर आधारित
हैकथॉन का दूसरा एडिशन वास्तविक दुनिया की चुनौतियों से निपटने में मददगार हार्डवेयर सॉल्यूशंस के अनुप्रयोगों का जश्न मनाने वाला प्लेटफार्म साबित हुआ।
हॉर्डवॉर 2.0 में मुख्य अतिथि के तौर पर डॉ हरीशं चंद्र कर्नाटक, वैज्ञानिक एसडी तथा हैड, जियोवेब सर्विसेज़, आईटी एंड डिस्टेंस लर्निंग डिपार्टमेंट, इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ रिमोट सेंसिंग (आईआईआरएस), इसरो देहरादून, इंडिया भी उपस्थित थे। इस आयोजन को चार अलग-अलग चरणों में बांटा गया था दृ रजिस्ट्रेशन, आइडिएशन, एग्जीक्यूशन और ग्रैंड फाइनल, जिसके लिए दुनियाभर के शैक्षिक संस्थानों की 110 से अधिक टीमों ने भाग लिया। इन टीमों ने अपनी-अपनी मनपसंद चुनौतियों के लिए समाधानों की संकल्पना तैयार की थी, कुल-मिलाकर 50 दिग्गज टीमों ने एग्जीक्युशन चरण में अपने-अपने आइडिया को हार्डवेयर प्रोटोटाइप्स के माध्यम से साकार रूप दिया।
ग्रैंड फाइनल में 20 दिग्गज टीमों के कार्यों का मूल्यांकन एक प्रतिष्ठित जूरी पैनल द्वारा किया गया जिसमें डॉ प्रभात कुमार, प्रोफेसर, एनआईआईअी पटना, संजय शर्मा, सीईओ, थ्रेट गार्डियन्स, लक्ष्य गुप्ता, एसडीई, ऑटोनॉमी तथा डॉ मधुबन शर्मा, यूपीईएस ने भाग लिया। टीम रिम ग्रीनर्जी, जीडी गोयनका यूनीवर्सटी को विजेता चुना गया और पुरस्कार स्वरूप 1,00,000 रूपये की राशि प्रदान की गई। इस बीच, टीम भीमा, एआई, वॉक्सेन यूनीवर्सटी दूसरे और टीम हैकगर्ल्ज़, एनआईअी राउरकेला तीसरे स्थान पर रही तथा उन्हें क्रमशः 75,000 और 50,000 पुरस्कार में मिले। टैक्नोलॉजी के क्षेत्र में इनोवेशन और परस्पर सहयोग का परिचय देने वाले हार्ड वॉर 2.0 को कोडिंग निन्ज़ास एंड थ्रेट गार्जियन्स द्वारा प्रायोजित और वर्चुअल साइबर लैब्स द्वारा एजुकेशन पार्टनर के तौर पर सपोर्ट किया गया। इसके अलावा, इंस्टीट्यूशन के इनोवेशन काउंसिल तथा स्टार्टअप उत्तराखंड इस इवेंट के इकोसिस्टम पार्टनर थे।